
जिज्ञासावश उठीं, खोजा,...
तो देखा डाइनिंग टेबल पर बैठे
पति जी कॉफी का कप हाथ में ले कर, विचारमग्न, दीवार को घूर रहे हैं।
पत्नी चुपचाप पति को कॉफी की चुस्की लेते हुए बीच-बीच में आँख से आँसू पोंछते देखती रही।
फिर पति के पास गई और बोलीं, “क्या बात है, डियर? तुम इतनी रात गए यहाँ क्या कर रहे हो..?”
पति जी ने कॉफी से नज़र उठाई। “तुम्हें याद है, 14 साल पहले जब
तुम सिर्फ 18 की थीं?” पति बड़ी गम्भीरता से बोला..।
पत्नी पति के प्यार को देख कर भाव विभोर हो गई,
बोली, “हाँ, याद है..।”
कुछ रुक कर पति बोले “याद है जब तुम्हारे जज पिताजी ने हमें मेरी कार मे घूमते हुए देख लिया था' ।
पत्नी हाँ हाँ.. याद है..।”
“याद है कैसे उन्होंने मेरी कनपटी पर बन्दूक रख कर कहा था,
“या तो इस से शादी कर लो, या 14 साल के लिए अन्दर करा दूँगा..।”
“हाँ.. हाँ.. वह भी याद है।”
अपनी आँख से एक और आँसू पोंछते हुए पति बोला.. “
…"आज मैं छूट गया होता...!!”
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